किस बात पर जाने रूठ गई है, अर्से से आई नहीं
देहलीज़ पर खड़ी है ज़िद्दी, आँखों में समाती नहीं
थक गया हूँ मैं बहुत जाना, अब सुला ही दो मुझे।
Stubborn at the Threshold, She refuses to cloak the Eyes,
Deathly Tired am I Dear, Please just put me to Sleep now.
देहलीज़ पर खड़ी है ज़िद्दी, आँखों में समाती नहीं
थक गया हूँ मैं बहुत जाना, अब सुला ही दो मुझे।
Stubborn at the Threshold, She refuses to cloak the Eyes,
Deathly Tired am I Dear, Please just put me to Sleep now.
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